Toran Kumar Reporter..17.4.2023/✍️
मध्यप्रदेश से बड़ी दुखद खबर सामने आ रही है. जहां सड़क हादसे में संत कनक बिहारी महाराज और उनके एक शिष्य विश्राम रघुवंशी की भी मौत हो गई जबकि एक शिष्य रूपदयाल घायल हो गया. ये सड़क हादसा नरसिंहपुर जिले के करेली में हुआ है.
बता दें कि ये हादसा तब हुआ जब संत अपने वाहन से अशोकनगर से छिंदवाड़ा जाने निकले थे. बताया जा रहा है कि ग्राम सगरी के पास उनकी कार डिवाइडर से टकरा गई. जिससे संत की मौके पर ही मौत गई. डिवाइडर से टकराने की वजह अभी सामने नहीं आई है.
सीएम शिवराज ने जताया दुख
नरसिंहपुर जिले के बरमान में हुई सड़क दुर्घटना में रघुवंश शिरोमणि श्री श्री 1008 संत श्री कनक बिहारी दास जी महाराज के देवलोक गमन से धर्म और अध्यात्म जगत की अपूरणीय क्षति हुई है।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) April 17, 2023
भगवान श्रीराम से दिव्यात्मा को अपने श्री चरणों में स्थान प्रदान करने की प्रार्थना करता हूँ। ॐ शांति!
कमलनाथ ने जताया दुख
कनक दास जी महाराज के निधन की खबर लगते ही पूर्व सीएम कमलनाथ ने भी ट्वीट कर शोक व्यक्त किया है उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा है कि एक सड़क दुर्घटना में परम श्रद्धेय संत यज्ञ सम्राट श्री श्री 1008 श्री कनक बिहारी महाराज का स्वर्गवास होने का दुखद समाचार प्राप्त हुआ. गुरु जी का देवलोक गमन उनके समस्त शिष्यों और भक्तों के लिए अपूरणीय क्षति है. ईश्वर महाराज जी की आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें और उनके भक्तों को यह दुख सहन करने की शक्ति प्रदान करें.
एक सड़क दुर्घटना में परम श्रद्धेय संत यज्ञ सम्राट श्री श्री 1008 श्री कनक बिहारी महाराज का स्वर्गवास होने का दुखद समाचार प्राप्त हुआ।
— Kamal Nath (@OfficeOfKNath) April 17, 2023
गुरु जी का देवलोक गमन उनके समस्त शिष्यों और भक्तों के लिए अपूरणीय क्षति है।
ईश्वर महाराज जी की आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें और उनके… pic.twitter.com/Y8YXEx2G6P
नोनी कला मंदिर से था लगाव
चांद के प्रसिद्ध नोनी कला मंदिर से महाराज का काफी गहरा लगाव था. वह काफी लंबे समय से यहीं पर विराजमान थे. यहां पर भव्य नर्मदा पुराण कथा भी चल रही थी, इसके प्रमुख आयोजन में ही वह शामिल होने वाले थे.
छिंदवाड़ा में हजारों शिष्य
बता दें कि कनक बिहारी महाराज का जन्म विदिशा जिले के नटेरन तहसील के खैराई गांव में हुआ था. यहां जन्मस्थान पर सबसे बड़ा आश्रम है. वहीं लोनी कलां छिंदवाड़ा में भी आश्रम है. उनके हजारों शिष्य है, जो अब महाराज की निधन की खबर के बाद छिंदवाड़ा पहुंचने वाले है.