चौहत्तर साल पहले 21 जून, 1948 को लार्ड माउंटबेटन के पालम एयरपोर्ट से इंग्लैंड रवाना होने के साथ हमारी गुलामी का वह आखिरी चिराग भी बुझ गया, जिसे हमारे नेताओं ने खुद बड़े जतन से जला रखा था। वे रोके क्यों गए थे?
चौहत्तर साल पहले 21 जून, 1948 को लार्ड माउंटबेटन के पालम एयरपोर्ट से इंग्लैंड रवाना होने के साथ हमारी गुलामी का वह आखिरी चिराग भी बुझ गया, जिसे हमारे नेताओं ने खुद बड़े जतन से जला रखा था। वे रोके क्यों गए थे?